अंग दान करने वाले लोगों के लिए समुचित व्यवस्था हो, एसएनएमएमसीएच जैसी लापरवाही दुबारा न हो को लेकर अपर स्वास्थ्य सचिव को पत्र
मनीष रंजन की रिपोर्ट मृत्यू एक सत्य है लेकिन अगर कुछ लोग अपनी मृत्यू के पश्चात अपने अंग दान की इच्छा रखते हैं उन्हे सरकारी स्तर पर बढ़ावा देने की जरूरत है और सरकार के तरफ से अपने मेडिकल कॉलेज या अन्य सरकारी अस्पताल में उचित सुविधा उपलब्ध होनी चाहिए पर न तो स्थानीय अस्पताल प्रशासन सजग रहती है और न वहां पदस्थापित चिकित्सक जिन्हे उस विभाग को देखने की जिम्मेवारी रहती है। जिसके फलस्वरूप अंग दान के इच्छुक व्यक्ति के परिवार वाले जरूरत मंदों को अंग उपलब्ध नहीं करा पाते। धनबाद स्थित एसएनएमएमसीएच में नेत्रदान करने वाले को नेत्र रखने वाले केमिकल की उपलब्धता नहीं रहने की वजह से अंगदान नहीं हो सका और जिससे अंग दान करने वाले की इच्छा भी नहीं पूरी हो सकी और न ही जरूरत मंद व्यक्ति को नेत्र मिल सका। आज अस्पताल प्रशासन की इसी लापरवाह रवैये को लेकर धनबाद के सामाजिक कार्यकर्त्ता और लोकहक मानव सेवा काउंसिल के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कुमार मधुरेंद्र सिंह ने झारखंड के अपर मुख्य सचिव सह प्रधान सचिव, स्वास्थ्य को पत्र लिखकर ईमेल किया है जिसमें उन्होने ऐसी लापरवाह रवैए को रोकने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश देने की अपील की है।उन्होने पत्र की प्रति स्वास्थ्य मंत्री, झारखंड सरकार सह बीस सूत्री प्रभारी, धनबाद, उपायुक्त,धनबाद, एडीएम, विधि व्यवस्था धनबाद, सिविल सर्जन ,धनबाद, अधीक्षक, एसएनएमएमसीएच, धनबाद, श्रीमती साल्विया,अंग दान प्रबंधक, रांची एवं धनबाद के सामाजिक कार्यकर्त्ता श्री अंकित राजगढ़िया को भी दी है।