दिव्यांग विद्यालय, वृद्धाश्रम एवं अन्य गरीबों के लिए आयुष्मान कार्ड बनाने को लेकर राष्ट्रपति को पत्र
मनीष रंजन की रिपोर्ट
केंद्र सरकार और राज्य सरकार के तरफ से दिव्यांग, बुजुर्गों एवं अन्य गरीब रिक्शे वाले, मजदूर एवं अन्य जरूरत मंद लोगों के लिए योजनाएं रहती है पर दिव्यांग विधालय, वृद्धाश्रम एवं मिशनरीज ऑफ चैरिटिज में रहने वालों के लिए अभी भी उनके स्वास्थ्य को लेकर आयुष्मान कार्ड नहीं बने हैं जिसकी वजह से वैसे व्यक्तियों के इलाज समय पर अच्छे अस्पतालों में नहीं हो पाते और वे असमय काल कवलित हो जाते हैं। गरीब दिहाड़ी मजदूर एवं रिक्शे वालों के आयुष्मान कार्ड नहीं रहने की वजह से उन लोगों को सरकारी अस्पताल में हो तो जाता है पर गंभीर बिमारी होने पर इलाज नहीं हो पाता है। आज इस विषय को लेकर धनबाद के सामाजिक कार्यकर्त्ता और लोकहक मानव सेवा काउंसिल के केंद्रीय उपाध्यक्ष कुमार मधुरेंद्र सिंह ने देश की राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मू को इस विषय पर विचार कर केंद्र एवं राज्य सरकार के सभी स्वास्थ्य योजनाओं के आयुष्मान कार्ड को बनाने के लिए दिव्यांग स्कूल, वृद्धाश्रम एवं गरीब एवं मजदूर वर्ग के लोग जिनका कोई ठिकाना नहीं होता वैसे लोगों के लिए निर्णय लेने की अपील की है।उन्होंने पत्र की प्रति प्रधानमंत्री, भारत सरकार, मुख्यमंत्री झारखंड एवं अन्य राज्यों के मुख्यमंत्रियों, स्वास्थ्य मंत्री भारत सरकार/ झारखंड सरकार, अपर मुख्य सचिव, झारखंड सरकार, उपायुक्त ,धनबाद एवं अन्य जिलों के, उपविकास आयुक्त,धनबाद एवं अन्य जिलों के, एडीएम( खाद्य आपूर्ति), धनबाद, सिविल सर्जन, धनबाद एवं अन्य जिलों के, निशक्तता आयुक्त, झारखंड सरकार एवं अन्य, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी, धनबाद एवं अन्य जिलों के पदाधिकारियों को इस पर विचार करने के लिए दिए हैं।