बगैर लाइसेंस के चल रहे जेनरेटर पर कार्रवाई की मांग

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मनीष रंजन की रिपोर्ट

शहरी क्षेत्रों तथा ग्रामीण क्षेत्रों में बेधड़क बिजली आपूर्ति के लिए जेनरेटर का बखूबी इस्तेमाल किया जाता है। ऐसे में धनबाद भी अछूता नहीं है। छोटे जेनरेटर या बड़े जेनरेटर हो कहने को तो लाइसेंस लेने की जरूरत होती है पर शायद एकाध बड़े जेनरेटर वालों को छोड़ बगैर लाइसेंस के चलते हैं। खुले आम उल्लंघन करने से ही अपने मनमर्जी कर विधुत पोलों से लाइन लेकर पावर सप्लाई जारी करते हैं जिससे रिवर्स बिजली आ जाती है। हाल में ही एक बिजली मिस्त्री की मौत ऐसे ही रिवर्स करेंट के आने से हो गयी थी।
आज इसी सिलसिले में धनबाद के सामाजिक कार्यकर्ता एवं केन्द्रीय उपाध्यक्ष मानव अधिकार अपराध एवं भ्रष्टाचार विरोधी संगठन के कुमार मधुरेन्द सिंह ने झारखंड विधुत वितरण निगम लिमिटेड,धनबाद के महाप्रबंधक को पत्र लिखकर ईमेल किया है जिसमें उन्होंने सरकार के द्वारा बनाए गए कानुन को विधुत विभाग के द्वारा कड़ाई से पालन कराते हुए सभी छोटे बड़े जेनरेटर वालों को लाइसेंस के लिए बाध्य कराएं एवं उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई करने की भी मांग की है। उन्होंने पांच दिन पहले धनबाद प्रदूषण विभाग के क्षेत्रीय पदाधिकारी को यत्र तत्र सड़कों के किनारे छोटे जेनरेटरों को ध्वनि रहित बनाने एवं प्रदूषण को कम करने के लिए आवश्यक कदम उठाने की जरूरत को प्राथमिकता देने की अपील की थी जिसके सकारात्मक परिणाम नजर आने लगे है।
कुमार मधुरेन्द सिंह ने इस पत्र की प्रति मुख्यमंत्री, झारखंड, चेयरमैन सह महाप्रबंधक, झारखंड विधुत वितरण निगम लिमिटेड, उपायुक्त, धनबाद, नगर आयुक्त, धनबाद, क्षेत्रीय पदाधिकारी, प्रदूषण विभाग, धनबाद, विधुत कार्यपालक अभियंता, धनबाद के विभिन्न प्रमंडल एवं विधुत निरीक्षक, झारखंड विधुत वितरण निगम लिमिटेड को जानकारी हेतु दी है।

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