होल्डिंग टैक्स की बढ़ोतरी को लेकर नगर विकास सचिव को पत्र लिखकर सुझाव, जल्द वापस हो– कुमार मधुरेंद्र सिंह
मनीष रंजन की रिपोर्ट
झारखंड राज्य में स्थानीय निकाय नगर निगम, नगर परिषद का चुनाव न कराकर राज्य सरकार अपनी मनमानीपन को जारी रखे हुए है। न उस नोटिफिकेशन का विरोध करने के लिए किसी कमिटी का गठन करने को कहा जा सकता है और न ही सरकार की मंशा है कि मेरे जारी नोटिफिकेशन का कोई विरोध करे। राज्य सरकार ने नगर निकायों की इकाईयां को पांच साल पूरा करने के बाद भंग कर दिया गया है। अब विरोध या तो जनता कर सकती है या नोटिफिकेशन के मनमानीपन को रोकने के लिए कोई पीआईएल दाखिल कर सरकार को कोर्ट आदेश देकर रोक सकती है। राज्य सरकार के द्वारा होल्डिंग टैक्स में छह गुणा तक वृद्धि कर दी गई है जो किसी भी रूप में किसी भी स्तर के शहर के लिए ठीक नहीं है। इसी बात को धनबाद के सामाजिक कार्यकर्त्ता और लोकहक मानव सेवा काउंसिल के केंद्रीय उपाध्यक्ष कुमार मधुरेंद्र सिंह ने कुछ दिन पहले भी झारखंड के नगर विकास सचिव सह प्रधान सचिव को पत्र लिखकर ईमेल कर लोगों को राहत दिलाने की अपील की थी जिसे अनंत सोच लाइव ने प्रमुखता से लिया था।आज उन्होंने फिर से पत्र लिखकर ईमेल कर सरकार को चुनाव कराने तक नये होल्डिंग टैक्स को लंबित रखकर लोगों को राहत प्रदान करने का आग्रह किया है। उन्होंने कहा कि अगर निकायों में चुने गए प्रतिनिधि होते तो किसी भी तरह के प्रस्ताव को लाने के पहले उनका भी मंतव्य लिया जाता लेकिन अभी ऐसा नहीं किया जा सकता है इसलिए किसी भी तरह के निर्णय को आदेश के रूप में निकाल दिया जा रहा है जो आम शहरी जनता के ऊपर अतिरिक्त बोझ बन गया है। उन्होंने राज्य सरकार से होल्डिंग टैक्स बढ़ोतरी अधिनियम को फिलहाल स्थगित कर फिर से न्यायोचित और तर्कसंगत बनाकर लोगों के सामने पेश करने की अपील की है।
उन्होंने पत्र की प्रति मुख्यमंत्री, झारखंड सरकार, मंत्री, झारखंड सरकार सह प्रभारी धनबाद जिला एवं नगर आयुक्त, धनबाद सहित राज्य के सभी नगर आयुक्तों को इस पर पुनर्विचार करने की अपील की है।