आज के छात्र-छात्राएं इन्नोवेशन पर ध्यान दें- जी जगदीश रेड्डी

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चंदन पाल की रिपोर्ट
देश के टॉप शिक्षण संस्थानों में शुमार आईआईटी आइएसएम धनबाद का 42 वां दीक्षांत समारोह भव्य समारोह में सम्पन्न हुआ। समारोह में डीआरडीओ के पूर्व अध्यक्ष एवं रक्षा मंत्री के वैज्ञानिक सलाहकार जी सतीश रेड्डी मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल हुए। कार्यक्रम में कुल 1832 विद्यार्थियों को प्रमाण पत्र और पदक दिए गए। छात्र-छात्राओं के लिए ड्रेस कोड भी जारी कर दिया गया था। डिग्री पाने वालों में पीएचडी, बीई, बीटेक, ड्यूल डिग्री, एमटेक, एमबीए और एमएससी के छात्र शामिल हैं। दीक्षांत सत्र के दौरान एक छात्र को प्रेसिडेंट गोल्ड मेडल और 54 छात्रों को इंस्टीट्यूट गोल्ड मेडल दिया गया। इसके अलावा 11 छात्रों को सिल्वर मेडल दिया गया। साथ ही 18 छात्रों को स्पांसर मेडल और तीन विद्यार्थियों को पीएचडी थीसिस अवार्ड से नवाजा गया। निदेशक प्रो. राजीव शेखर संस्थान से जुड़े विभिन्न अकादमिक और प्रशासनिक रिपोर्ट प्रस्तुत किया एवं दीक्षांत समारोह में डिग्री लेने वाले छात्रों को बेहतर भविष्य के लिये शुभकामनाएं दी।छात्र -छात्राएं भी डिग्री लेकर बेहद प्रफुलित नजर आए।
वहीं छात्रों को सम्बोधित करते हुए रक्षा मंत्री के वैज्ञानिक सलाहकार एवं पूर्व डीआरडीओ चेयरमैन जी सतीस रेड्डी ने छात्रों से आह्वान किया कि भविष्य में इनोवेशन पर ध्यान दें। स्पेस साइंस, रॉकेट टेक्नोलॉजी, रक्षा टेक्नोलॉजी आदि विषयों पर शोध करें ताकि पीएम मोदी के आत्मनिर्भर भारत के आह्वान को साकार किया जा सकें।हम रक्षा क्षेत्र में भी आत्मनिर्भर बने तभी सुपर पावर बन सकेंगे । भारत सुपर सोनिक मिसाईल, डेवलप करने की दिशा में काम कर रहा है। स्वदेशी प्रक्षेपण यान से पृथ्वी से 36 हजार किमी दूर अन्तरिक्ष में उपग्रह स्थापित करने में सफल हुआ है।दुनिया का सबसे हल्का बुलेटप्रूफ जैकेट आईआईटी के छात्रों के द्वारा ही तैनात किया गया है। ये कुछ उदाहरण है जो आपको देश के लिए इनोवेशन के लिए प्रेरणा का काम करते हैं।

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