स्कूलों को खोलने के निर्णय का स्वागत- कैप्टन प्रदीप मोहन सहाय
मनीष रंजन की रिपोर्ट
कोरोना संक्रमण काल से गुजर रहे देश में केंद्र सरकार के द्वारा देश भर में स्कूलों को खोलने के निर्णय को गहराई से समझने की जरूरत है। सरकार के आदेशानुसार दिनांक 21 सितम्बर से कक्षा नौवीं से बारहवीं तक के बच्चों के लिए एक दिन छोड़कर कक्षाएं चलाने की बात कही जा रही है।
झारखंड अभिभावक संघ के धनबाद जिला अध्यक्ष कैप्टन प्रदीप मोहन सहाय ने इस निर्णय का स्वागत किया है पर उन्होंने कहा है कि छात्रों के हित को ध्यान में रखते हुए वैक्सीन आने तक स्कूल को केंद्र एवं राज्य सरकार के गाइडलाइन के तहत ही खुलना चाहिए। उन्होंने कहा है कि यह अभिभावकों पर छोड़ देना चाहिए कि बच्चों को कैसे और क्यों स्कूल भेजा जाए। अस्पताल जैसा यहां कोई व्यवहार नहीं होना चाहिए कि जैसे वहां ऑपरेशन थिएटर में मरीज को ले जाने से पहले उपस्थित परिवार के सदस्यों से शपथ पत्र पर हस्ताक्षर कराया जाता है कि अगर मरीज को कुछ हुआ तो अस्पताल या डाॅक्टर उसका जिम्मेवार नहीं है ।
साथ ही, बच्चों के सुरक्षा की जिम्मेवारी किसके ऊपर होगी, क्लास के दौरान यदि कोई छात्र संक्रमित होता है तो उसका इलाज का पूरा खर्च कौन उठाएगा ? स्कूल, राज्य सरकार या केंद्र सरकार यह जवाबदेही भी तय होनी चाहिए।